- जननायक कर्पूरी ठाकुर जी की 101वीं जयंती पर भाजपा ने अर्पित की श्रद्धांजलि
- सामाजिक न्याय के ध्वजवाहक थे कर्पूरी ठाकुर जी" – डॉ. दिलीप जायसवाल
- भाजपा ने पूर्णिया में जननायक कर्पूरी ठाकुर जी की जयंती पर किया भव्य कार्यक्रम आयोजित
- डॉ. दिलीप जायसवाल ने कर्पूरी ठाकुर जी के समर्पण और सादगी को बताया प्रेरणास्त्रोत
- पिछड़े वर्गों के उत्थान के लिए कर्पूरी जी के प्रयास आज भी प्रासंगिक" – डॉ. जायसवाल
- कर्पूरी ठाकुर जी ने सामाजिक समरसता और समावेशिता को दिया नया आयाम" - डॉ जायसवाल
- भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कर्पूरी ठाकुर जी के आदर्शों को अपनाने का किया आह्वान
पूर्णिया/ पटना 24 जनवरी 2025
आज पूर्णिया स्थित भारतीय जनता पार्टी जिला कार्यालय में भारत रत्न से सम्मानित बिहार के भूतपूर्व मुख्यमंत्री और सामाजिक न्याय के पुरोधा जननायक कर्पूरी ठाकुर जी की 101वीं जयंती के उपलक्ष्य में एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉ दिलीप जायसवाल ने दीप प्रज्वलन और जननायक कर्पूरी ठाकुर जी के तैल चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर किया। इस अवसर पर भाजपा के वरिष्ठ नेताओं, कार्यकर्ताओं और आम नागरिकों ने उनके प्रति श्रद्धा व्यक्त की।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष एवं बिहार के राजस्व और भूमि सुधार मंत्री डॉ. दिलीप जायसवाल ने जननायक कर्पूरी ठाकुर जी को नमन करते हुए कहा कि "जननायक कर्पूरी ठाकुर जी ने अपने पूरे जीवन में समाज के शोषित, वंचित, और गरीब वर्गों के अधिकारों के लिए संघर्ष किया। वे सामाजिक न्याय के वास्तविक ध्वजवाहक थे, जिन्होंने पिछड़े और अति पिछड़े वर्गों को मुख्यधारा में लाने के लिए ऐतिहासिक कदम उठाए। उनकी सादगी, ईमानदारी, और त्याग हर भारतीय के लिए प्रेरणा स्रोत हैं।"
उन्होंने आगे कहा की "कर्पूरी ठाकुर जी ने अपने जीवन में न केवल सामाजिक समरसता का संदेश दिया, बल्कि समाज में समानता और समावेशिता के सिद्धांतों को भी मजबूती से स्थापित किया। उनके आदर्श आज भी हमें सही दिशा में कार्य करने और समाज के हर वर्ग को सशक्त बनाने की प्रेरणा देते हैं।"
जननायक कर्पूरी ठाकुर जी के योगदान को याद करते हुए डॉ दिलीप जायसवाल ने कहा कि गरीबों, शोषितों, और वंचितों को न्याय दिलाने के लिए अपने जीवन में उन्होंने अनेक महत्वपूर्ण फैसले लिए। उन्होंने शिक्षा, स्वास्थ्य, और रोजगार के क्षेत्र में पिछड़े वर्गों को सशक्त बनाने के लिए ऐतिहासिक नीतियां बनाईं। उनकी 'सामाजिक न्याय की नीति' और 'समान शिक्षा व्यवस्था' आज भी प्रासंगिक हैं।
डॉ जायसवाल ने उनकी सादगी और ईमानदारी को आज के समय में सभी जनप्रतिनिधियों और समाजसेवियों के लिए आदर्श बताया। उनका जीवन इस बात का उदाहरण है कि दृढ़ इच्छाशक्ति और जनसेवा के प्रति समर्पण से समाज में सकारात्मक बदलाव लाए जा सकते हैं।
डॉ. दिलीप जायसवाल ने आह्वान किया आइए, हम सभी उनके आदर्शों को अपनाएं और उनके दिखाए गए मार्ग पर चलकर समाज के अंतिम व्यक्ति तक विकास और न्याय पहुंचाने का प्रयास करे।
इस कार्यक्रम के अवसर पर पूर्णिया सदर के विधायक श्री विजय खेमका,भाजपा जिला अध्यक्ष श्री मनोज सिंह,और जिला कार्यक्रम क्रियान्वयन समिति के उपाध्यक्ष श्री राकेश कुमार सहित भाजपा के अनेक वरिष्ठ नेताओं और सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने भाग लिया।