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नेपाल छोड़ने को मजबूर हुए भारतीय मूल के लोग


न्यूज़ डेस्क। एक तरफ जहां भारत कोरोना के साथ-साथ चीन से परेशान है वहीं अब नेपाल भी भारत के लिए एक नई मुसीबत बनता जा रहा है । वजह नेपाल का बनाया जा रहा नया नक्शा है कोरोना संकट को लेकर पहले से ही भारत-नेपाल सीमा सील है, ऐसे में नए नक्शा को लेकर हो सकता है भारत कोई सख्त कदम उठाए लोगों को डर है कि किसी भी समय भारत-नेपाल का रिश्ता खराब हो सकता है। 

कोरोना एवं खराब होते भारत- नेपाल रिश्ते को देखते हुए भारतीय मूल के लोगों ने नेपाल छोड़ने को मजबूर हैं । बताया जा रहा है 25,000 से अधिक भारतीय वापस भारत लौट चुके हैं और अभी वतन लौटने का सिलसिला जारी है। काठमांडू में भारतीय दूतावास के निर्देशों पर, बिहार, उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों से कुल 755 भारतीय नागरिकों को सोनौली सीमा के माध्यम से सीमा में प्रवेश मिला। इसमें सबसे अधिक उत्तर प्रदेश एवं बिहार मूल के लोग हैं, जो नेपाल में व्यापार किया करते थे और नेपाल में लगभग सेट हो चुके थे। इन सभी के साथ-साथ दिल्ली ,मुंबई ,गुजरात ,हरियाणा इत्यादि प्रदेशों के रहने वाले भारतीय नागरिक भी भारत लौट रहे हैं ।इन सभी को बसों से उनके घर भेजने का सिलसिला जारी है। इन सभी का इमीग्रेशन कार्यालय में मेडिकल जांच एवं सेल्फ डिक्लेरेशन फॉर्म भरवा कर सभी भारतीयों का डाटा लिया गया है। साथ ही साथ केवाईसी भी जमा कराई गई है सभी नागरिकों को स्वास्थ्य प्रमाण पत्र भी दिया गया है ।लोग इसी आधार पर अपने को घरों में क्वारंटीइन हो सकेंगे।

अधिकतर भारतीयों ने बताया उनका रोजगार होटल एवं रेस्टोरेंट का था मगर मार्च से कोरोना  संकट के कारण पूरा धंधा चौपट हो चुका है और ऊपर से भारत नेपाल के बिगड़ते रिश्ते ने और परेशानी पैदा खड़ी कर दी है। उधर भारत का चीन से भी बॉर्डर पर तनाव बना हुआ है। ऐसी स्थिति में भारत नेपाल बॉर्डर कभी भी पूरी तरह सील हो सकता है जिस कारण वह वापस भारत नहीं जा सकेंगे ।इन्हीं कारणों के कारण भारतीय मूल के लोग वापस भारत लौटना चाहते हैं।

दरअसल नेपाल की संसद ने हाल में ही एक नया राजनीतिक नक्शा संसद में पास किया है, जिसमें उत्तराखंड के लिपुलेख, कालापानी और लिंपियाधुरा पर वह अपना दावा जता रहा है। अब मोतिहारी की जमीन पर भी दावा सामने आने के बाद यह विवाद बढ़ता दिख रहा है। हालांकि इससे पहले भारत ने तटबंध बनाए रखने के लिए नेपाल के तरफ से किसी भी विरोध या प्रदर्शन का सामना नहीं किया, लेकिन क्यों इस बार आपत्ति दिखाई जा रही है।