न्यूज डेस्क। बालू के अवैध खनन मामले में कार्रवाई का सिलसिला जारी है। मंगलवार को दो एसपी, चार एसडीपीओ समेत 18 पुलिस व प्रशासनिक अफसरों पर निलंबन के बाद बुधवार को डेढ़ दर्जन इंस्पेक्टर और दारोगा को निलबिंत किया गया है। निलबिंत होने वालों में चार इंस्पेक्टर और 14 दारोगा शामिल हैं। निलंबित किए गए सभी इंस्पेक्टर और दारोगा पहले पटना, भोजपुर, सारण, औरंगाबाद और रोहतास जिले के थानों में पदस्थापित थे। आíथक अपराध इकाई (ईओयू) की जांच में बालू के अवैध खनन में संदिग्ध भूमिका मिलने पर इन सभी का 10 जुलाई को जोन से बाहर तबादला किया गया था।इन सभी पर विभागीय कार्यवाही भी शुरू कर दी गई है।
इन पर अब तक हुई कार्रवाई
इंस्पेक्टर : अरविंद कुमार गौतम, दयानंद सिंह, सुनील कुमार, अवधेश कुमार झा,पुलिस अवर निरीक्षक संजय प्रसाद, रहमतुल्लाह, बिजेंद्र प्रताप सिंह, कृपाशंकर साह, कुंवर प्रसाद गुप्ता, दीप नारायण सिंह, आनंद कुमार सिंह, सतीश कुमार सिंह, पंकज कुमार, राजेश कुमार चौधरी, दिनेश कुमार दास, राज कुमार, अशोक कुमार, राम कुमार राम ।
तत्कालीन 10 थानाध्यक्ष पर गाज डीजीपी के निर्देश पर पुलिस मुख्यालय ने जिन डेढ़ दर्जन पुलिस पदाधिकारियों पर कार्रवाई की है, उनमें 10 तत्कालीन थानाध्यक्ष शामिल हैं। इसमें पटना जिले के बिहटा, पालीगंज व रानीगंज थानेदार भी शामिल हैं। इसके अलावा भोजपुर के चार, औरंगाबाद के दो और सारण के एक तत्कालीन थानाध्यक्ष निलंबित हुए हैं। इन सभी को कोसी, मिथिला, चंपारण, बेगूसराय, पूíणया आदि रेंज के थानों में भेज दिया गया था।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, कुछ और अफसरों पर भी कार्रवाई हो सकती है। इसके लिए पर्याप्त सबूत इकट्ठा किये गये जा रहे हैं। निलंबित अफसरों पर विभागीय कार्यवाही को लेकर ज्ञापन दिये जाने का काम शुरू हो गया है। उन्हें 'आर्टिकल ऑफ चार्ज की जानकारी देते हुए स्पष्टीकरण भी मांगा गया है।