कोटा में बिहार के लगभग 11,000 से अधिक छात्र अटके हुए हैं। बिहार सरकार ने पटना हाई कोर्ट को भी सूचित किया है कि वह फंसे हुए लोगों की हर संभव मदद कर रही है, लेकिन उन्हें वापस नहीं ला सकती है क्योंकि यह लॉकडाउन के दिशानिर्देशों का उल्लंघन होगा। छात्र और उनके माता-पिता लगातार सरकार से बच्चों को वापस लाने का लगातार आग्रह कर रहे हैं।
यहां दूसरी और कोटा में फंसे दूसरे राज्यों की सरकार है, अपने राज्य के छात्रों को वापस ला रही हैं, वहीं दूसरी ओर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इस पर अभी भी कड़ा रुख अख्तियार किए हुए हैं ।
बताते चलें सबसे पहले उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने अपने राज्यों के छात्रों को सबसे पहले बस भेज कर फंसे छात्रों को वापस उत्तर प्रदेश बुलाया था।
असम और हरियाणा ने भी बस भेज कर बच्चों को बाहर निकाला है लेकिन बिहार सरकार अभी भी कोटा में फंसे छात्रों के लिए कुछ नहीं कर रही है।
बिहार में कोटा मुद्दे पर विपक्ष की सियासत भी जारी है,लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव ने "सद्बुद्धि महायज्ञ" करवा कर सीएम नीतीश कुमार को छात्रों को घर लाने की मांग की। उधर तेजस्वी यादव ने भी ट्वीट करते हुए नीतीश कुमार को कोटा में फंसे छात्रों को बिहार वापस लाने की बात कही है।