न्यूज डेस्क। प्रो.आलमगीर को मौलाना मजहरुल हक अरबी एवं फारसी विश्वविद्यालय का कुलपति बनाया गया है। उनकी नियुक्ति पर शिक्षाविदों, संकाय सदस्यों अन्य कर्मचारियों ने खुशी व्यक्त की प्रो. आलमगीर को उनकी उत्कृष्ट सफलता के लिए बधाई दी है।
मौलाना मजाहिरुल हक विश्वविद्यालय पटना के कुलपति के रूप में प्रोफेसर मुहम्मद आलमगीर की नियुक्ति पूरे मिथलांचल के लिए गर्व के तौर पर देखा जा रहा है। वह एक दर्जन से अधिक पुस्तकों के लेखक भी हैं।
1982 में व्याख्याता के पद पर हुए थे नियुक्त
सर्व प्रधम 1982 में उन्हें एलएन मिथला विश्वविद्यालय दरभंगा में राजनीति विज्ञान विभाग में व्याख्याता के रूप में नियुक्त किया गया था। इसके बाद 1999 में प्रोफेसर के पद पर पदोन्नत किया गया। तत्पश्चात जून 2021 में समस्तीपुर महाविद्यालय के प्रभारी प्राचार्य के रूप में नियुक्त किए गए। प्रोफेसर आलमगीर ने मुसलमानों मदरसा शिक्षा की समस्याओं से संबंधित पांच शोध परियोजनाओं पर काम किया है। मदरसा शिक्षा पर उनका शोध बहुत ही कद्र की निगाह से देखा जाता है ऐसी आशा है कि उनके शोध के आलोक में मदरसों की शैक्षिक व्यवस्था में परिवर्तन देखने को मिलेगा। वह एक दर्जन से अधिक पुस्तकों के लेखक भी हैं।
दरभंगा जिले के रहने वाले हैं प्रो. आलमगीर दोघरा गांव के निवासी निवासी हैं। वह दिवंगत मास्टर अमीरुद्दीन मरहूम के पुत्र हैं। डॉ. मुहम्मद आलमगीर ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा मदरसा कासिम उल उलूम हुसैनिया दोघरा में प्राप्त की, जहां उनके पिता स्वर्गीय जनाब अमीरुद्दीन साहब गणित के शिक्षक थे। बाद में उन्होंने जाले प्रखंड के ब्रहम्पुर हाई स्कूल से मैट्रिक की पढ़ाई पूरी की. मैट्रिक के बाद उन्होंने अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में अपनी उच्च शिक्षा पूरी की।